लोक भविष्य निधि - Personal Banking
लोक भविष्य निधि
वित्त मंत्रालय (आर्थिक कार्य विभाग) ने अपनी ई-गजट अधिसूचना जी.एस.आर. 913 (ई) दिनांक 12 दिसंबर, 2019 के माध्यम से अधिसूचित किया है कि केंद्र सरकार ने दिनांक 15 जून, 1968 की जी.एस.आर.1136 (ई) के तहत प्रकाशित सार्वजनिक भविष्य निधि योजना-1968 को तत्काल प्रभाव से रद्द कर दिया है। इसके अलावा वित्त मंत्रालय (आर्थिक कार्य विभाग) ने 12 दिसंबर, 2019 की अपनी ई-गजट अधिसूचना जी.एस.आर. 915 (ई) के माध्यम से सार्वजनिक भविष्य निधि योजना-2019 नाम से एक योजना को अधिसूचित किया है। यह योजना आयकर छूट और अच्छे रिटर्न के साथ निवेश करने का अवसर प्रदान करती है। इस योजना की मुख्य विशेषताएं इस प्रकार हैं
नामांकन
- ऑफलाईन (डाउनलोड करने हेतु यहां क्लिक करें)
(गृह शाखा में जमा किया जाना है) - ऑनलाईन खुदरा इंटरनेट बैंकिंग ((https://www.onlinesbi.sbi)
(मेनू नेविगेशन → होम पेज →अनुरोध व पूछताछ →ऑनलाईन नामांकन) - नियम
विशेषताएँ
- निवेश सीमा : न्यूनतम 500.00 रु. से लेकर अधिकतम 1,50,000 तक प्रतिवर्ष जमा किया जा सकता है। ग्राहक को प्रति वर्ष 1,50,000 से अधिक नहीं जमा करना चाहिए चूंकि अतिरिक्त राशि पर पर न तो कोई ब्याज मिलेगा और न ही आय कर नियमों के तहत छूट के लिए पात्र होगी। राशि प्रति वर्ष एकमुश्त या अधिकतम 12 किश्तों में जमा की जा सकती है।
- मूल अवधि 15 वर्ष है। इसके बाद ग्राहक द्वारा आवेदन किए जाने पर इसे 5 साल के 1 या अधिक ब्लॉक के लिए बढ़ाया जा सकता है।
- ब्याज दर केंद्र सरकार द्वारा तिमाही आधार पर निर्धारित की जाती है। वर्तमान में यह 7.10 % प्रतिवर्ष है जो 01.04.2020 से प्रभावी है। ब्याज की गणना न्यूनतम शेष राशि पर माह के 5वें और अंतिम दिन के बीच की जाती है और इसका भुगतान प्रतिवर्ष 31 मार्च को किया जाता है।
- खाते की अवधि एवं अधिशेष के आधार पर निर्दिष्ट तारीखों को ऋण एवं आहरण की अनुमति है।
- आय कर अधिनियम की धारा 88 के तहत आय कर लाभ उपलब्ध हैं। ब्याज आय पूरी तरह से आय कर मुक्त है। जमा राशि, सम्पदा कर से भी मुक्त है।
- एक या एक से अधिक व्यक्तियों के नाम में नामांकन की सुविधा उपलब्ध है। नामितियों का अंश भी ग्राहक द्वारा निर्धारित किया जा सकता है।
- ग्राहक के अनुरोध पर खाते को अन्य शाखाओं / अन्य बैंकों या डाकघरों में अंतरित किया जा सकता है। यह सेवा नि:शुल्क है।
पात्रता
- व्यक्ति स्वयं अपने नाम से और नाबालिगों की ओर से किसी भी शाखा में खाता खोल सकता है। मौजूदा अनुदेशों के अनुसार हिंदु अविभाजित परिवार के नाम में पीपीएफ खाता खोलने की अनुमति नहीं है।
नियम एवं शर्तें
- उपभोक्ता को 1,50,000 रुपये प्रति वर्ष से अधिक जमा नहीं करना चाहिए क्योंकि अतिरिक्त राशि न तो कोई ब्याज अर्जित करेगी और न ही आयकर अधिनियम के तहत छूट के लिए पात्र होगी। राशि एकमुश्त या किश्तों में जमा की जा सकती है।
- ब्याज की गणना न्यूनतम बैलेंस (पीपीएफ खाते में) पर महीने के 5वें दिन से अंतिम दिन के बीच की जाती है और हर साल 31 मार्च को इसका भुगतान किया जाता है
- ब्याज आय को आयकर से पूरी तरह छूट प्राप्त है। क्रेडिट में बकाया राशि को धन कर से भी पूरी तरह छूट दी गई है।
- एक खाताधारक या किसी नाबालिग या अस्वस्थ मानसिक स्थिति के व्यक्ति जो अभिभावक है, का खाता लेखा कार्यालय को फॉर्म-5 में आवेदन करने पर निम्नलिखित कारणों से समय पूर्व बंद करने की अनुमति दी जाएगी, जैसे कि
- i) खाताधारक, उसके पति या पत्नी या आश्रित बच्चों या माता-पिता का गंभीर बीमारियों से उपचार कराने के लिए, जिसके लिए उस बीमारी की पुष्टि करने वाले संबंधित दस्तावेज
- ii) खाताधारक या आश्रित बच्चों की उच्च शिक्षा के लिए, जिसके लिए भारत या विदेश के मान्यता प्राप्त उच्च शिक्षा संस्थान में प्रवेश की पुष्टि संबंधी दस्तावेज तथा फीस की रसीदें प्रस्तुत करने होंगे।
- iii) खाताधारक के निवासी स्टेटस में परिवर्तन होने पर, जिसके लिए पासपोर्ट और वीजा या आयकर रिटर्न की प्रति प्रस्तुत करनी होगी।
डिसक्लेमर
- पीपीएफ (संशोधन ) योजना 2016 और अन्य लघु बचत योजनाओं को वित्त मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय बचत बचत संस्थान द्वारा संचालित किया जाता है। इन योजनाओं के बारे में नवीनतम निर्देशों के लिए ग्राहकों से अनुरोध है कि उनकी साइट देखें।
Last Updated On : Thursday, 04-04-2024
ब्याज दर
2.70% प्रति वर्ष.
से प्रभावी>3.00% प्रति वर्ष.
10 करोड़ रुपए व अधिक, 15.10.2022 से प्रभावी
2.70% प्रति वर्ष.
रु 10 करोड़ से कम शेष राशि
3.00% प्रति वर्ष.
रु 10 करोड़ और अधिक शेष राशि
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Criteria
- Features
- Eligibility
- Terms and Conditions
ब्याज दर
2.70% प्रति वर्ष.
से प्रभावी>3.00% प्रति वर्ष.
10 करोड़ रुपए व अधिक, 15.10.2022 से प्रभावी
2.70% प्रति वर्ष.
रु 10 करोड़ से कम शेष राशि
3.00% प्रति वर्ष.
रु 10 करोड़ और अधिक शेष राशि